जयपुर

सरकार के मौजूदा कार्यकाल में आवासन मंडल का टर्नओवर 6 हजार करोड़ रुपए के पार, राजस्व में हुआ रिकॉर्ड इजाफा

जयपुर। नगरीय विकास एवं आवासन मंत्री शांति धारीवाल ने शुक्रवार को अपने निवास पर राजस्थान आवासन मण्डल का वित्तीय वर्ष 2021-22 का लेखा-जोखा जारी किया। धारीवाल ने बताया कि मौजूदा सरकार के कार्यकाल में मंडल का टर्नओवर 6 हजार करोड़ रुपए के पार चला गया है, जो कि अब तक का सर्वाधिक है। इस अवसर पर आयुक्त पवन अरोड़ा ने यूडीएच मंत्री को मण्डल का आय-व्यय ब्यौरा सौंपा।

अरोडा ने बताया कि इस 6 हजार करोड़ रुपए में से 4536 करोड़ रुपए की राजस्व प्राप्ति हो गई है और 1600 करोड़ रुपए का राजस्व अर्जित कर लिया गया है, लेकिन आगामी समय में यह किश्तों के रूप में मण्डल को प्राप्त होगा। इसमें आवासीय सम्पत्तियों के विक्रय से प्राप्त होने वाला 620 करोड़ रुपए और प्रीमियम सम्पत्तियों के ई-ऑक्शन से प्राप्त होने वाला 980 करोड़ रुपए शामिल है।

मंत्री शांति धारीवाल ने बताया कि हमने जब सत्ता संभाली तो मंडल हमें आर्थिक रूप से बदहाल मिला था। उन्होंने आंकड़ों के माध्यम से स्पष्ट करते हुए बताया कि हमारी सरकार के गठन के समय यानी वित्तीय वर्ष 2018-19 में मंडल का टर्नओवर मात्र 118.58 करोड़ रुपए था। हमने मंडल को रिवाइव करने के लिए जो प्रयास किए उनका ही परिणाम है कि साल दर साल न केवल इसका टर्नओवर बढ़ा बल्कि इसके राजस्व में भी रिकॉर्ड वृद्धि हुई। वित्तीय वर्ष 2019-20 में 841.57 करोड़ रुपए, 2020-21 में 2163.65 करोड़ रुपए और 2021-22 में 3012.45 करोड़ रुपए का टर्नओवर रहा।

आयुक्त ने बताया कि मंडल में लगभग 1700 करोड़ रुपए के नए निर्माण कार्य प्रारंभ किए गए हैं। मंडल द्वारा लगभग 319 करोड़ रुपए की लागत से जयपुर के प्रताप नगर में देश का पहला कोचिंग हब बनाया जा रहा है। जयपुर के मानसरोवर में 70 करोड़ रुपए की लागत से सिटी पार्क और इसके सामने 14 करोड़ रुपए की लागत से फाउंटेन स्क्वायर बनाया जा रहा है। लगभग 16 करोड़ रूपये की लागत से जयपुर चौपाटी और मानसरोवर का निर्माण कार्य पूर्ण कर लिया गया है।

उन्होंने बताया कि 266.176 करोड़ रुपए की लागत से विधायक आवास परियोजना का निर्माण कार्य करवाया जा रहा है। इसके साथ ही 80 करोड़ रुपए की लागत से कॉन्स्टीट्यूशन क्लब ऑफ राजस्थान का निर्माण कार्य करवाया जा रहा है। अखिल भारतीय सेवाओं के अधिकारियों के लिए जयपुर के प्रताप नगर में लगभग 125 करोड़ रुपए की लागत से एआईएस रेजीडेंसी का निर्माण कार्य करवाया जा रहा है। लगभग 125 करोड़ रुपए की लागत से मुख्यमंत्री शिक्षक एवं प्रहरी आवास योजना का निर्माण कार्य पूर्णता की ओर है। गरीबों को आवास उपलब्ध करवाने के लिए 4 मुख्यमंत्री जन आवास योजनाओं में 207 करोड़ रुपए की लागत से आवास बनवाए जा रहे हैं। इसके साथ ही 18 छोटे शहरों में आवासीय योजनाएं सृजित की जा रही हैं, जिनमें लगभग 338 करोड़ रुपए के निर्माण कार्य चल रहे हैं।

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