जयपुरराजनीति

राजस्थान भाजपा ने गहलोत सरकार के खिलाफ शुरू किया ‘हल्ला बोल आंदोलन’

जयपुर। राजस्थान भाजपा ने अशोक गहलोत सरकार के खिलाफ हल्ला बोल आंदोलन शुरू कर दिया है। गुरुवार को प्रदेशभर में भाजपा नेता और कार्यकर्ता सड़कों पर उतरे और सरकार की नाकामियों जैसे बढ़ी हुई बिजली दरें, बढ़ते अपराध, किसान कर्जमाफी, परीक्षाओं में धांधली जैसे मुद्दों को लेकर सरकार के खिलाफ ज्ञापन दिए गए।

जयपुर शहर में भाजपा नेताओं ने अतिरिक्त जिला कलक्टर प्रथम इकबाल मोहम्मद को राज्यपाल के नाम ज्ञापन सौंपा। शहर अध्यक्ष राघव शर्मा ने बताया कि कांग्रेस ने अपने जन घोषणापत्र में वादा किया था कि बिजली की दरों में कोई बढ़ोतरी नहीं होगी, लेकिन अब सरकार ने वादाखिलाफी करते हुए जनता पर बिजली की दरों में बढ़ोतरी करके बोझ डालने का काम किया है। सरकारी भर्तियों में जिस प्रकार से अनियमितता हो रही है, रीट की परीक्षा की सीबीआई जांच कराई जानी चाहिए। इसको लेकर प्रदेश के युवाओं में काफी रोष है। प्रदेश में कानून व्यवस्था पूरी तरह से चौपट है। आमजन में भय का माहौल है। शीघ्र ही कानून व्यवस्था नहीं सुधरी तो सरकार के खिलाफ भाजपा बड़ा आंदोलन करेगी।

इस दौरान जयपुर सांसद रामचंद्र बोहरा, ग्रेटर नगर निगम की कार्यवाहक मेयर शील धाभाई, उप महापौर पुनीत कर्णावट, पूर्व विधायक मोहनलाल गुप्ता, सहित जयपुर शहर भाजपा नेता मौजूद रहे। इससे पहले जयपुर शहर के सभी मंडलों में जनप्रतिनिधियों के नेतृत्व में विरोध-प्रदर्शन किया गया। बिजली कार्यालयों में बढ़ी बिजली दरों के खिलाफ ज्ञापन भी सौंपा गया। वहीं प्रदेशभर में 77 प्रमुख नेताओं ने उपखंड स्तर पर आंदोलन की शुरूआत की और सरकार के खिलाफ राज्यपाल के नाम ज्ञापन सौंपा।

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के गढ़ जोधपुर के ओसियां में सरकार को घेरा। पूनिया ने कहा कि रीट में नकल हुई, लेकिन शिक्षामंत्री मानने को तैयार नहीं है। यदि रीट में नकल नहीं हुई तो फिर बत्तीलाल को क्यों पकड़ा गया? प्रदेश में प्रतियोगी परीक्षाओं में धांधलियां आम बात हो गई है। कांग्रेस सरकार में कानून व्यवस्था पूरी तरह से बिगड़ चुकी है। प्रदेश क्राइम कैपिटल बन चुका है।

पूनिया ने कहा कि मुख्यमंत्री गहलोत को 2023 में असलियत पता चलेगी। उनको गलतफहमी में नहीं रहना चाहिए। हर खिलाड़ी को पता रहता है कि उसका प्रदर्शन कैसा है। सरकार के प्रदर्शन को लेकर गहलोत भी हताशा के दौर से गुजर रहे हैं। कांग्रेस की जो दुर्गति होने वाली है, आलाकमान ने भी नहीं सोची होगी और इसके जिम्मेदार गहलोत होंगे।

पूनिया ने कहा कि गहलोत के लिए कोरोना आपदा में अवसर बनकर आया है। कांग्रेस की सरकार बनने से पहले राहुल गांधी ने किसानों की कर्जमाफी का ऐसा फार्मूला दिया कि भगवान कृष्ण भी उसे पूरा नहीं कर सकते है। राहुल ने कहा था कि एक से दस तक गिनती गिनो और कर्जा माफ। ऐसा को कोई जादूगर भी नहीं कर सकता है। गंगानगर में कर्ज माफी नहीं होने से परेशान किसान ने लाइव वीडियो में मुख्यमंत्री का नाम लेकर आत्महत्या की।

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