जयपुर। राजस्थान की 4 सीटों पर हुए राज्यसभा के चुनाव के परिणाम आ गए हैं। चार में से 3 सीटों पर कांग्रेस को विजय मिली है और एक सीट भाजपा के खाते में गई है। भाजपा की ओर से दो उम्मीदवार खड़े करने के बावजूद तीन सीट जीतकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपनी सियासी जादूगरी दिखा दी और उनके सामने एक बार फिर भाजपा मात खा गई।
कांग्रेस ने राजस्थान से सोनिया, राहुल और प्रियंका गांधी के पसंदीदा उम्मीदवार मुकुल वासनिक, रणदीप सुरजेवाला और प्रमोद तिवारी को मैदान में उतारा गया था और मुख्यमंत्री गहलोत ने उन्हें जीत दिलाकर राज्यसभा में भिजवा दिया है। उधर भाजपा के उम्मीदवार घनश्याम तिवाड़ी भी राज्यसभा में पहुंच गए हैं, लेकिन निर्दलीय के रूप में पर्चा भरने वाले सुभाष चंद्रा को हार का सामना करना पड़ा है।
राजस्थान से कांग्रेस के दो उम्मीदवारों की जीत तय मानी जा रही थी, लेकिन गहलोत की जादूगरी के आगे भाजपा की सारी चालबाजियां फेल हो गई और गहलोत ने साम,दाम, दंड,भेद के जरिए अपने तीसरे उम्मीदवार को भी जीत दिलवा दी। कहा जा रहा है कि इस जीत के बाद गहलोत का कद आलाकमान के सामने ज्यादा बढ़ गया है।
चुनाव परिणाम आने के बाद गहलोत ने इन परिणामों पर खुशी व्यक्त की और ट्वीट कर कहा कि राजस्थान में तीन राज्यसभा सीटों पर कांग्रेस की विजय लोकतंत्र की जीत है। मैं तीनों नवनिर्वाचित सांसदों प्रमोद तिवारी, मुकुल वासनिक और रणदीप सुरजेवाला को बधाई देता हूं। मुझे पूर्ण विश्वास है कि तीनों सांसद दिल्ली में राजस्थान के हक की मजबूती से पैरवी कर सकेंगे।
गहलोत ने कहा कि यह शुरू से स्पष्ट था कि कांग्रेस के पास तीनों सीटों के लिए जरूरी बहुमत है। परन्तु भाजपा ने एक निर्दलीय को उतारकर हॉर्स ट्रेडिंग का प्रयास किया। हमारे विधायकों की एकजुटता ने इस प्रयास को करारा जवाब दिया है। 2023 विधानसभा चुनाव में भी भाजपा को इसी तरह हार का सामना करना पड़ेगा।