जयपुर। उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री शकुन्तला रावत ने आमजन से हैंडलूम उत्पादों और परिधानों को अपनाने का आवान्ह किया है। उन्होंने कहा कि अपनों (स्थानीय कारीगरों) द्वारा अपनों (प्रदेशवासियों) के लिए बनाए उत्पादों के इस्तेमाल से पारंपरिक हस्तकलाओं को बचाया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा हस्तशिल्प के उत्थान के लिए हाल में हैंडीक्राफ्ट पॉलिसी लागू की गई है, जिसका लाभ आर्टिजंस को मिलने लगेगा।
रावत ने बुधवार को राजस्थान स्टेट हैण्डलूम डवलपमेंट कॉर्पाेरेशन लिमिटेड के हथकरघा भवन, चौमू हाउस, सी-स्कीम स्थित परिसर में पांच दिवसीय हैंडलूम प्रदर्शनी के उद्घाटन के दौरान यह बात कही। उन्होंने कहा कि दस्तकारों द्वारा शुद्ध प्राकृतिक रंगों और धागों के जरिए वस्त्र बनाए जा रहे हैं, जो कि स्वास्थ्य की दृष्टि से भी फायदेमंद हैं।
राजसिको अध्यक्ष राजीव अरोड़ा ने कहा कि राजस्थानी परिधान प्रदेशवासियों की पहचान है। जोधपुर में होने वाले इंटरनेशनल एक्सपो में हैंडलूम और टेक्सटाइल के उत्पादों का पवेलियन बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि हैंडलूम के ज्यादा से ज्यादा उत्पादों की भी जीआई टैगिंग करवाई जा रही है, ताकि कला का संर्वधन और संरक्षण किया जा सके। उन्होंने बताया कि एक जिला—एक उत्पाद मिशन से आने वाले दिनों में निर्यात को खास बल मिलेगा।
अतिरिक्त मुख्य सचिव वीनू गुप्ता ने कहा कि राज्य सरकार पारंपरिक कलाओं के उत्थान के लिए हमेशा प्रयासरत रही है। इसी के मदृदेनजर सरकार द्वारा हैंडिक्राफ्ट पॉलिसी लाई गई है। इसके तहत हैडिक्राफ्ट और हैंडलूम निदेशालय स्थापित किए जा रहे हैं। इसका उद्देश्य कलाओं से जुड़े आर्टिजंस को प्रोत्साहित और कला का संरक्षण करना है।
राजस्थान राज्य हथकरघा विकास निगम की सीएमडी डॉ. मनीषा अरोड़ा ने बताया कि राज्य के हाथकर्घा एवं हस्तशिल्प वस्त्र उद्योग को समुचित विपणन प्रोत्साहन देने के लिए 14 से 18 दिसम्बर तक इस पांच दिवसीय हैण्डलूम प्रदर्शनी-कम सेल का आयोजन किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि सभी उत्पादों पर 25 प्रतिशत की छूट दी जा रही है।
अरोड़ा ने बताया कि प्रदर्शनी में प्रदेश के नेशनल अवार्डी एवं उत्कृष्ट बुनकरों तथा दस्तकारों द्वारा तैयार किए गए विभिन्न किस्मों के वस्त्र यथा डिजाइनर कोटा डोरिया, जरी, हैण्ड ब्लॉक प्रिन्टेड एवं सिल्क साड़ियां, ड्रेस मैटेरियल, सांगानेरी, बगरू प्रिन्टेड बेडशीट्स, बाड़मेरी अजरख बेडशीट्स, कलात्मक दोहर, जयपुरी रजाई, दरियां, फैशनेबल कुर्तें, प्लाजो, शर्ट्स आदि-आदि उत्पाद बिक्री एवं प्रदर्शन के लिए रखे जाएंगे। इसके साथ ही राजस्थान लघु उद्योग निगम लि. (राजस्थली) के आकर्षक हैण्डीक्राफ्ट उत्पाद प्रदर्शन एवं बिक्री के लिए रखे जा रहे हैं। बुनकर सेवा केन्द्र द्वारा हस्तचलित लूम पर डोरिया साड़ी वीविंग का लाइव प्रदर्शन किया जा रहा है, जोकि आगंतुकों द्वारा खासा पसंद भी किया जा रहा है।