पाकिस्तान ने भारत को सर्जिकल स्ट्राइक या जमीनी हमला करने से रोकने के लिए परमाणु तैयारी शुरू कर दी है। पाकिस्तान अब जीरो मीटर रेंज वाले परमाणु हथियार बनाने पर काम कर रहा है। पाकिस्तान के परमाणु हथियारों के विकास से जुड़े रिटायर लेफ्टिनेंट जनरल खालिद किदवई ने इस बारे में बड़ा खुलासा किया है।
पाकिस्तान के परमाणु बम अब भारत के लिए बहुत बड़ा खतरा बन गए हैं। यही नहीं, अब पाकिस्तान के जीरो रेंज के परमाणु बम पर काम करने का खुलासा हुआ है। पाकिस्तान के परमाणु बम का विकास करने वाली संस्था एनसीए के सलाहकार रटिायर लेफ्टिनेंट जनरल खालिद किदवई ने खुलासा किया है कि उनका देश अब जीरो मीटर रेंज से लेकर 2,750 किमी तक मार करने वाले परमाणु हथियारों पर काम कर रहा है।
विशेषज्ञों के मुताबिक यह जीरो रेंज वेपन पाकिस्तान की परमाणु रणनीति में नाटकीय और खतरनाक बदलाव का संकेत है। खालिद किदवई ने यह भी बताया किया कि पाकिस्तान के पास समुद्र, जमीन और हवा से परमाणु हथियार गिराने की क्षमता है। पाकिस्तान का उद्देश्य भविष्य में भारत को सर्जिकल स्ट्राइक या जमीनी हमला करने से रोकना है।
कोल्ड स्टार्ट नीति का जवाब
अमेरिका की चर्चित पत्रिका फॉरेन पॉलिसी की रिपोर्ट के मुताबिक पिछले महीने पाकिस्तान ने अपने पहले परमाणु परीक्षण के 25 साल पूरे होने का जश्न मनाया था। इसी दौरान पाकिस्तान की वर्तमान परमाणु नीति को लेकर काफी जानकारी सामने आई। लेफ्टिनेंट जनरल खालिद किदवई पाकिस्तान की परमाणु नीति और एटम बमों की सुरक्षा रणनीति बनाने वाली संस्था एसपीडी के पूर्व महानिदेशक हैं। उन्होंने अपने भाषण के दौरान यह दोहराया कि पाकिस्तान भारत की कथित कोल्ड स्टार्ट नीति के खिलाफ जमीन, हवा और पानी के जरिए परमाणु हमला करने की ताकत यानि न्यूक्लियर ट्रायड को मजबूत करेगा।
परमाणु बम से लैस तोप के गोले..!
किदवई ने इसी दौरान खुलासा किया कि पाकिस्तान की इस न्यूक्लियर ट्रायड नीति में जीरो मीटर रेंज से लेकर 2750 किमी तक परमाणु हमला करने की क्षमता और विनाशकारी परमाणु बम शामिल है। इसमें रणनीतिक, ऑपरेशनल और टैक्टिकल परमाणु बम शामिल हैं। फॉरेन पॉलिसी ने कहा कि न्यूनतम रेंज को घटाकर जीरो मीटर करना बहुत अप्रत्याशित है और अगर इसे क्रियान्वित किया गया तो यह पाकिस्तान की परमाणु नीति की सोच में बहुत बड़ा बदलाव होगा। रिपोर्ट में कहा गया है कि जीरो रेंज के परमाणु बम बनाने का मतलब है कि पाकिस्तान या तो ठीक उसी तरह के परमाणु बम से लैस तोप के गोले बनाने जा रहा है जैसे अमेरिका, सोवियत संघ और ब्रिटेन ने कोल्ड वॉर के समय किया था।
अमेरिका ने बनाए थे छोटे बम
अमेरिका के पास राइफल सिस्टम है, जो उसके परमाणु हथियार के जखीरे में सबसे छोटा है। इस हथियार को 1950 के दशक में कम क्षमता वाले अग्रिम मोर्चे के हथियार के रूप में विकसित किया गया था। इसकी क्षमता 1 किलोटन से भी कम है। रिपोर्ट में कहा गया है कि या फिर पाकिस्तान यह इशारा कर रहा है कि वह भारत-पाकिस्तान सीमा पर परमाणु बारूदी सुरंग बिछाएगा ताकि भारत के किसी भी हमले को रोका जा सके।
पाकिस्तान का सर्जिकल स्ट्राइक रोकने का प्लान
रिपोर्ट में कहा गया है कि इस खुलासे के बाद भारत में विश्लेषक सकते में हैं कि क्या इस बयान का आधार वर्तमान समय में मौजूद कोई वैज्ञानिक शोध या डिजाइन टेस्टिंग है। किदवई के बयान में इस तरह का कोई भी ब्योरा नहीं दिया गया है। पाकिस्तान अभी इस परमाणु रहस्य को सुलझाना भी नहीं चाहता है। पाकिस्तान जानबूझकर अपनी परमाणु नीति को संदिग्ध बना रखा है। उसने केवल अपनी मिसाइलों की रेंज बताई है। इस खुलासे से पहले पाकिस्तान की सबसे कम दूरी की मिसाइल नस्र या हत्फ 9 है। इसकी मारक क्षमता 60 किमी है। इसे भारत की कोल्ड स्टार्ट नीति का जवाब कहा जाता है।
अंडमान तक हमला करने को मिसाइल
इसके अलावा 2,750 की अधिकतम रेंज वाली पाकिस्तानी मिसाइल शाहीन-3 है। यह भारत के अंडमान निकोबार द्वीप समूह तक हमला करने के लिए बनाई गई है। किदवई के बयान के अलावा अभी पाकिस्तान की ओर से कोई और बयान नहीं आया है। विशेषज्ञों का कहना है कि बालाकोट हमले के बाद पाकिस्तान ने भारत पर परंपरागत तरीके से जवाब दिया था। ऐसे में भारत को बिना परमाणु युद्ध के महाविनाश के डर के पाकिस्तान को दंडित करने का हथियार मिल गया है। यह संभव है कि अब किदवई परमाणु हथियारों की रेंज को जीरो करके इस खाई भरना चाहते हैं ताकि भारत भविष्य में पाकिस्तान के अंदर सर्जिकल स्ट्राइक भी नहीं कर सके।
परमाणु बम से लैस गोला दाग सकती है पाकिस्तानी तोप
पाकिस्तान अगर ऐसा करता है तो भारत को भी अपनी परमाणु बम की पहले इस्तेमाल नहीं करने की नीति को बदलना पड़ सकता है। यही नहीं, अगर पाकिस्तान कम रेंज का परमाणु तोप का गोला बनाता है तो भारत का मिसाइल डिफेंस सिस्टम भी कम रेंज की वजह से उसे रोक नहीं पाएगा। पाकिस्तान ने अभी हाल ही में चीन से तोप खरीदी है, जो परमाणु बम से लैस गोला दाग सकती है। इसकी रेंज 50 किमी तक है। पाकिस्तान की इस नीति से क्षेत्रीय स्थिरता को खतरा पैदा हो जाएगा। साथ ही, भारत की उस सोच पर संकट आ जाएगा जिसके तहत वह मानता है कि परमाणु बम से लैस पाकिस्तान के साथ सीमित परंपरागत युद्ध लड़ा जा सकता है।