भारत और फ्रांस के बीच काफी अच्छे संबंध रहे हैं। फ्रांस के राष्ट्रपति दो दिनों की भारत यात्रा पर थे। दोनों देशों के बीच व्यापारिक समझौते भी हुए। लेकिन एक ऐसी डील भी हुई है, जिससे भारत को एक ऐसा चांस मिला है, जो आज कभी नहीं मिला था। इस डील में टाटा ग्रुप भी जुड़ा हुआ है।
फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों का भारत दौरा खत्म हो चुका है। रिपब्लिक डे पर फ्रांस के राष्ट्रपति को चीफ गेस्ट के तौर पर बुलाना भारत को बड़ा फायदा पहुंचा गया है। फ्रांस ने भारत को ऐसा गिफ्ट दिया है, जिससे देश के पास आसमान पर भी बादशाहत हासिल करने का चांस मिल गया है। अब भारत देश में हेलीकॉप्टर भी बनाएगा।
जी हां, देश में हेलीकॉप्टर मैन्युफैक्चरिंग प्लांट लगने जा रहा है। टाटा और यूरोपीय कंपनी एयरबस मिलकर इस पर मिलकर काम करेंगे। एयरबस हेलीकॉप्टर्स ने कहा कि वह देश में हेलीकॉप्टर बनाने का प्लांट स्थापित करने के लिए टाटा ग्रुप के साथ पार्टनरशिप कर रहा है। एयरबस हेलीकॉप्टर ने एक बयान में कहा कि वह फाइनल एसेंबली लाइन के जरिए सिविल रेंज के एयरबस एच125 हेलीकॉप्टर का मैन्युफैक्चरिंग करेगी। इसका प्रोडक्शन भारत और कुछ पड़ोसी देशों को निर्यात करने को लेकर किया जाएगा।
देश का पहला हेलीकॉप्टर प्लांट
एयरबस की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार फाइनल असेंबली लाइन (एफएएल) प्राइवेट सेक्टर के भारत में हेलीकॉप्टर मैन्युफैक्चरिंग फैसिलिटी स्थापित करने का पहला उदाहरण होगा। यह भारत सरकार के ‘आत्मनिर्भर भारत’ कार्यक्रम को गति देगा। इस पार्टनरशिप के तहत, टाटा ग्रुप की सहयोगी कंपनी टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड (टीएएसएल) एयरबस हेलीकॉप्टर्स के साथ प्लांट स्थापित करेगी। यह घोषणा 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों की दो दिवसीय भारत यात्रा के दौरान की गई।
किस तरह से होगा काम
एयरबस हेलीकॉप्टर्स ने कहा कि भारत में एफएएल प्रमुख कल-पुर्जों को जोड़ने (असेंबली), एवियोनिक्स और मिशन सिस्टम, इलेक्ट्रिक हार्नेस की स्थापना, हाइड्रोलिक सर्किट, फ्लाइट कंट्रोल, फ्यूल सिस्टम और इंजन इंटीग्रेशन का काम करेगा। बयान के अनुसार, इसके अलावा यह भारत और क्षेत्र में ग्राहकों के लिए एच125 की टेस्टिंग, योग्यता और डिस्ट्रीब्यूशन भी करेगा। बयान में कहा गया है कि एफएएल को स्थापित होने में 24 महीने का समय लगेगा। पहले ‘मेड इन इंडिया’ एच125 की डिलिवरी 2026 के शुरू होने की उम्मीद है। बयान के मुताबिक, फाइनल असेंबली लाइन लगाने के लिए स्थान एयरबस और टाटा ग्रुप संयुक्त रूप से तय करेंगे।
टाटा के साथ मिलकर करेंगे काम
एयरबस के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) गुइलाम फाउरी ने कहा कि राष्ट्र निर्माण के लिए हेलीकॉप्टर महत्वपूर्ण हैं। ‘मेड-इन-इंडिया’ सिविल हेलीकॉप्टर न केवल आत्मविश्वास से भरे नए भारत का प्रतीक होगा, बल्कि देश में हेलीकॉप्टर मार्केट वास्तविक क्षमता को भी सामने लाएगा। उन्होंने कहा कि ‘हेलीकॉप्टर के लिए हम फाइनल असेंबली लाइन अपने भरोसेमंद साझेदार टाटा के साथ मिलकर बनाएंगे। यह भारत में एयरोस्पेस परिवेश को विकसित करने के लिए एयरबस की प्रतिबद्धता को बताता है।
मेक इन इंडिया पहल को मिलेगा बल
नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि यह एक ऐतिहासिक दिन है और यह सहयोग स्वदेशी विनिर्माण को बढ़ावा देने में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है और इससे रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि यह साझेदारी ‘मेक इन इंडिया’ पहल को सशक्त बनाएगी। इससे भारत-फ्रांस संबंधों को और मजबूत करने के साथ ही देश की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलेगा।