इंडियन मेडिकल एसोसिएशन, जयपुर ब्रांच के अध्यक्ष डॉ तरुण ओझा इस बार राजस्थान नाक कान गला एसोसिएशन के भी निर्विरोध अध्यक्ष चुने गए है। चुनाव शनिवार को हुए थे। बता दें कि डॉक्टर ओझा इसके पूर्व भी राजस्थान कान नाक गला डॉक्टर एसोसिएशन के विगत 6 वर्षों से सचिव थे । डॉ ओझा वर्मतमान में हात्मा गांधी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में कान नाक गला रोग विभाग के प्रोफेसर एवं विभागाध्यक्ष हैं।
डॉ ओझा का कहना है कि उनकी प्राथमिकताओं में कान नाक गला के डॉक्टरों के हितों के अलावा यह देखना भी रहेगा कि प्रदेश की जनता को इस विषय की बीमारियों से कितनी सुगमता से निजात दिलाई जा सकती है। उन्होंने बताया कि संगठन शैक्षणिक गतिविधियों के अलावा सांस्कृतिक, साहित्यिक व सामाजिक सरोकार की गतिविधियों में भी अपना योगदान देती है। उन्होंने राजस्थान सरकार से यह मांग भी की जो सरकार की योजनाएं हैं जैसे मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य योजना है। लेकिन, इन योजनाओं में मरीजों को कान नाक गला विषय का उपचार पूर्णतया नहीं मिल पाता। अधिकांश बीमारियों का उपचार व ऑपरेशन उसमें शामिल नहीं है। उन्होंने मांग की इन रोगों के ऑपरेशंस व उपचार को मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य योजना में सम्मिलित किया जाए ताकि प्रदेश की जनता को ज्यादा से ज्यादा सरकारी योजना का लाभ मिल सके एवं उन्हें निराश न लौटना पड़े ।
इसके अतिरिक्त उन्होंने यह भी मांग की कि जो पैकेज इसमें शमिल भी हैं तो उनका शुल्क काफी कम है और कई जगह पर तो बिल्कुल प्रासंगिक नहीं है, उसे प्रासंगिक बनाया जाए ताकि मरीजों को क्वालिटी केयर प्रदान की जा सके। इसके अलावा डॉक्टर ओझा ने कहा कि बच्चे जो जन्मजात मूकबधिर होते हैं उनके सुनाई के लिए ऑपरेशन होता है जिसे कोकलियर इंप्लांट कहते हैं। यह एक काफी महंगा यंत्र है जो करीब 6:30 लाख रुपए का आता है और इसको लगाने का खर्चा अतिरिक्त होता है और बाद में स्पीच थेरेपी का पैसा अलग से लगता है। ऐसी परिस्थितियों में राजस्थान सरकार ने कोकलीयर इंप्लांट का ऑपरेशन मुख्यमंत्री आयुष्मान आरोग्य योजना में निशुल्क किया हुआ है लेकिन यह ऑपरेशन केवल सरकारी मेडिकल कॉलेज में ही दिया हुआ है। संस्था की तरफ से और राजस्थान ईएनटी चिकित्सकों की तरफ से डॉ ओझा ने यह मांग की है कि इस ऑपरेशन को निजी क्षेत्र में भी दिया जाए। जो ईएनटी के अस्पताल डेडीकेटेड इसी विषय का कार्य करते हैं या बड़े अस्पताल जिनमें ईएनटी रोग विशेषज्ञ की उपलब्धता है, स्पीच थैरेपिस्ट है। वहां पर भी इस ऑपरेशन को निशुल्क दिया जा सकता है । इसके अतिरिक्त समस्त प्राइवेट मेडिकल कॉलेज जहां पर एमबीबीएस और एम एस के कोर्स होते हैं, छात्रों को पढ़ाए जाने के लिए कोकलियर इंप्लांट भी जरूरी है, इसलिए उनको भी यह ऑपरेशन प्राथमिकता पर निशुल्क दिया जाना चाहिए ताकि प्रदेश की जनता का और उन बच्चों का जो जन्मजात बहरे हैं और इसलिए वह बोल नहीं पाए उनका सुगमता से उपचार किया जा सके।
डॉक्टर ओझा ने बताया कि उनके अतिरिक्त चुनाव में उपाध्यक्ष पद पर डॉक्टर विक्रांत माथुर और डॉक्टर देव कुमार पिंगोलिया ,सचिव पद पर डॉ पवन सिंघल एवं कोषाध्यक्ष पद पर डॉ अंजनी शर्मा चुने गए। चुनाव शनिवार को राजस्थान ईएनटी के प्रदेश स्तरीय सम्मेलन के दौरान संपन्न हुए। इस सम्मेलन में ईएनटी रोग के वरिष्ठ चिकित्सक डॉक्टर दीनदयाल हेमानी को लाइफ टाइम अचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया गया