जयपुर। राज्य सरकार का वर्ष 2025-26 का बजट ‘आपणों अग्रणी राजस्थान’ के संकल्प को साकार करने की ओर आगे बढ़ रहा है। समाज के हर वर्ग के कल्याण की मंशा के साथ लाये गए इस बजट में सहकारिता सेक्टर को सुदृढ बनाने के लिए कई उल्लेखनीय घोषणाएं की गई हैं। इसमे मुख्य घोषणा के तहत मुख्यमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के अंतर्गत किसानों को अब 2000 रुपये की जगह 3000 रुपये की अतिरिक्त राशि मिलेगी। साथ ही, गेहूं खरीद पर बोनस की राशि बढाकर 150 रुपए प्रति क्विंटल किया गया है।
सरकार को अपेक्षा है कि इन घोषणाओं से किसानों को आर्थिक संबल मिलेगा। वहीं, फसली ऋण का दायरा बढ़ाते हुए आगामी वर्ष में 35 लाख से अधिक किसानों को 25,000 करोड़ रुपए का अल्पकालीन ब्याज मुक्त फसली ऋण उपलब्ध करवाया जाएगा। इसके ब्याज अनुदान पर 768 करोड़ रुपये व्यय होंगे। राजस्थान सहकारी गोपाल क्रेडिट कार्ड योजना का भी दायरा बढाते हुए 2.50 लाख अतिरिक्त गोपालक परिवारों को ब्याज मुक्त ऋण उपलब्ध करवाया जाएगा। वहीं, दीर्घकालीन सहकारी कृषि एवं अकृषि सेक्टर के लिए 400 करोड़ रुपये के ऋण पर 5 प्रतिशत ब्याज अनुदान की घोषणा की गई है। ये सभी घोषणाएं किसानों एवं पशुपालकों को सशक्त बनाने वाली हैं।
बजट में आगामी दो वर्ष में शेष 2,500 ग्राम पंचायतों में ग्राम सेवा सहकारी समितियां स्थापित करने की घोषणा की गई है। इसके लिए प्रावधानों में शिथिलन दिया जाएगा। साथ ही, नवीन 8 जिलों में क्रय-विक्रय सहकारी संघों की स्थापना की जाएगी। बड़ी संख्या में नई सहकारी समितियां खुलने से गांव-ढाणी स्तर तक सहकारिता का नेटवर्क मजबूत होगा।
वहीं, वर्ष 2024-25 की उपलब्धियों की अगर बात करें तो मुख्यमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के अंतर्गत राज्य के 70.21 लाख किसानों के बैंक खातों में 1हजार 355 करोड़ की राशि हस्तांतरित की गई है। इसी प्रकार, आदिनांक तक 30.43 लाख किसानों को 21 हजार 43 करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त अल्पकालीन फसली ऋण वितरण किया जा चुका है। प्रदेश में 95 हजार से अधिक नये किसानों को ऋण वितरित किया गया है। वहीं, राजस्थान सहकारी गोपाल क्रेडिट कार्ड योजना के अंतर्गत 28 हजार से अधिक गोपालक परिवारों को एक लाख रुपये तक का ब्याज मुक्त अल्पकालीन ऋण उपलब्ध करवाया गया है।
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