जयपुरपर्यावरण

सांभर झील के लिए सीमांकन का कार्य हुआ प्रारंभ

देश की सबसे बड़ी खारी आद्रभूमि सांभर झील, सर्वाधिक नमक उत्पादन के साथ हजारों की संख्या में फ्लेमिंगो एवं प्रवासी पक्षियों की अठखेलियों के लिए अपनी अनूठी पहचान स्थापित किये हुए है। सांभर झील राज्य में न केवल पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है बल्कि राज्य में रोजगार एवं अर्थव्यवस्था का भी महत्वपूर्ण भाग है। इसी को मध्यनजर रखते हुए राज्य में सांभर झील के संरक्षण एवं विकास के लिए प्रतिबद्धता के साथ कार्य किया जा रहा है।
राज्य आद्र भूमि प्राधिकरण की सदस्य सचिव मोनाली सेन ने बताया कि सांभर रामसर साइट होने के साथ एक ऐसी आर्द्रभूमि है, जो प्रवासी पक्षियों के साथ वन्य जीवों का विचरण स्थल भी है। उन्होंने कहा कि वर्तमान सांभर झील एक आकर्षक पर्यटन स्थल बनकर उभर रही है। जिसके संरक्षण एवं विकास के लिए प्रमुखता से कार्य किया जा रहा है। इसी दिशा में सांभर झील के लिए रोडमैप एवं कार्य योजना भी विकसित की जा रही है। उन्होंने बताया कि सांभर झील के सीमांकन का कार्य प्रारंभ किया जा चुका है। जिसके लिए सीमा चिन्हित करने के उद्देश्य से खंभे लगाए जा रहे है एवं विशेष दल द्वारा सर्वे का कार्य किया जा रहा है। जिससे सांभर झील क्षेत्र में विचरण करने वाले वन्यजीवों के साथ सांभर झील का भी संरक्षण हो सकेगा।
उल्लेखनीय है कि सांभर झील का क्षेत्र विस्तृत रूप से जयपुर ग्रामीण, अजमेर और डीडवाना-कुचामन ज़िलों में फैला हुआ है। पक्षी प्रजातियों में कूट, ब्लैक-विंग्ड स्टिल्ट, सैंड पाइपर और रेड शैंक्स आदि को आम तौर पर अठखेलियां करते हुए देखा जा सकता है। इसके अलावा लोमड़ी, नीलगाय एवं अन्य वन्यजीवों को भी यहां स्वतंत्र रूप से घूमते हुए देखा जा सकता है।

Related posts

शीतलहर (cold wave) से राजस्थान (Rajasthan) को राहत (Relief) किंतु 26 दिसंबर से शुरू हो सकता है हल्की से मध्यम बरसात का दौर

admin

फर्जी अभ्यर्थी (fake candidate) बैठाकर रीट परीक्षा (REET Exam) पास कराने का झांसा देने वाले गिरोह 4 लोग पकड़े, 2 कार और 5.60 लाख की नकदी (cash) बरामद

admin

आईपीएल 2021 के शेष 31 मैचों के आयोजन के लिए 4 देशों के प्रस्ताव

admin