क्राइम न्यूज़दिल्ली

मणिपुर के 40 विधायकों की पीएम को चिट्ठी: लूटे गए हथियार वापस लाए जाएं… विदेशी फंडिंग, आर्म्स सप्लाई और घुसपैठ की जांच हो

मणिपुर के 40 विधायकों ने बुधवार को पीएम मोदी को चिट्ठी लिखी है, जिसमें उन्होंने अपनी 6 मांगों को रखा है। इनमें मणिपुर में 144 लागू करने, उग्रवादियों से हथियार वापस लेने और शांतिवार्ता की पहल शामिल है।
विशेष विधानसभा सत्र की मांग को लेकर सैकड़ों महिलाओं ने बुधवार रात करीब 9ः30 बजे इंफाल के कीसंपत, कीसमथोंग और क्वाकीथेल और इंफाल पूर्वी जिले के वांगखेई और कोंगबा में मशाल जुलूस भी निकाला। उधर, स्थानीय पुलिस और असम राइफल्स आमने-सामने हो गए हैं। दोनों के बीच टकराव बढ़ गया है। दोनों के बीच बहस के कई वीडियो भी सोशल मीडिया पर सामने आ चुके हैं।
क्या हैं 40 विधायकों की मांगें
1. उपद्रवियों से हथियार वापस लिए जाएं
सुरक्षा बलों की साधारण तैनाती काफी नहीं। हिंसा को रोकने के लिए उपद्रवियों से हथियार वापसी बेहद जरूरी है। कई खबरें आईं, जब किसान खेतों में काम करने बाहर गए और ऊंचाई पर बैठे लोगों ने उन पर गोलियां चला दीं। इन घटनाओं में अत्याधुनिक हथियार स्नाइपर राइफल और रॉकेट ग्रेनेड इस्तेमाल हुए हैं। कई बार ये घटनाएं केंद्रीय सुरक्षा बलों की मौजूदगी में हुईं और वे कुछ नहीं कर सके। इससे उन लोगों को भरोसा कम हुआ और गुस्सा बढ़ा। असम राइफल्स (9, 22 और 37) को हटाकर उनकी जगह राज्य और सेंट्रल फोर्स को तैनात किया जाए, ताकि शांति बहाल हो सके।
2 . सस्पेंशन ऑफ ऑपरेशन की वापसी
30 कुकी समुदाय के 25 समूहों के साथ 2008 में हुए सस्पेंशन ऑफ ऑपरेशन के समझौते को वापस लिया जाए, क्योंकि यहां नियमों का उल्लंघन किया गया है। राज्य में हथियारों और गोला-बारूद समेत बड़े पैमाने पर विदेशी घुसपैठ हुई है। इनके सोर्स और फंडिंग की जांच की जाए, ताकि यह पता चल सके कि पिछले तीन महीनों से संघर्ष कैसे चल रहा है और हथियार कैसे आ रहे हैं।
3. एनआरसी को लागू करना
संघर्ष को रोकने के लिए इस मुद्दे को राजनीतिक रूप से देखा जाना चाहिए। कई ऑप्शन हैं, उनमें से एक मणिपुर के मूल निवासियों के लिए नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटीजन्स को जल्द लागू किया जा सकता है। अप्रवासियों के बायोमेट्रिक रजिस्ट्रेशन की जो शुरुआत हुई है, उसे और मजबूती दी जाए।
4. अलग प्रशासन नहीं
यह एक सबसे महत्वपूर्ण पॉइंट है जिसे जरूर उठाया जाना चाहिए। कुकी की मांग पर राज्य में अलग प्रशासन किसी भी हालत में स्वीकार नहीं है।
5. ऑटोनॉमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल की शक्तियां बढ़ाएं
सभी समुदायों का भरोसा दिलाने के लिए ऑटोनॉमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल को मजबूत करें। हिल एरिया कमेटी और छह एडीसी के लिए नियमित चुनाव पर विचार कर सकते हैं।
6. शांति वार्ता की पहल
इन पांच बातों के पूरा होने के बाद आवश्यक शांति वार्ता शुरू की जा सकती है और चल रहे संकट का एक परमानेंट सॉल्यूशन निकाला जा सकता है।
पुलिस बोली- गुरुवार को मणिपुर में शांति रही
मणिपुर पुलिस ने गुरुवार (10 अगस्त) शाम को प्रेस नोट जारी किया। पुलिस के मुताबिक पिछले 24 घंटे में राज्य में हिंसा की छिटपुट घटनाओं को छोड़कर शांति रही। संवेदनशील इलाकों में तलाशी अभियान चलाया गया, जिसमें दो हथियार बरामद हुए। 24 घंटे में इंफाल पश्चिम, इंफाल पूर्व, थौबल और काकचिंग जिलों में विभिन्न स्थानों पर प्रदर्शनकारियों के जमा होने की सूचना मिली है, लेकिन पुलिस की सक्रियता के चलते कोई अप्रिय घटना नहीं हुई।

You can share this post!

Related posts

रेप पीडि़त (Rape Victim) के परिजनों (Family Members) की फोटो लगाने पर राहुल गांधी (Rahul Gandhi) के खिलाफ जयपुर (Jaipur) में परिवाद

admin

1952 के बाद दूसरा सबसे लंबा चुनाव, जून तक चलेगी वोटिंग: खास है लंबे कार्यक्रम की वजह

Clearnews

एल्विश यादव को झटका..! सागर ठाकुर की पिटाई के बाद एफआईआर, वायरल वीडियो में कहा- जान से मार दूंगा

Clearnews