चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने कहा कि प्रदेश में कोरोना से संक्रमितों के लिए बैड की कहीं कोई कमी नहीं रहने दी जाएगी। सरकार ने प्रदेश में एक लाख से ज्यादा बैड स्थापित करने की तैयारी कर रखी है।
शर्मा ने कहा कि प्रदेश के सबसे बड़े डेडीकेटेड कोविड सेन्टर आरयूएचएस में 1200 बैड हैं, साथ ही उसके नजदीक स्थित एक अन्य सेंटर में उपलब्ध 100 बैड को भी कोरोना मरीजों को दिया गया है। जयपुरिया व ईएसआई अस्पताल को भी डेडीकेटेड कोविड अस्पताल बनाया गया है। पूरे प्रदेश में निर्देश जारी किए गए है कि प्रत्येक सब-डिवजीनल हैडक्वाटर्स में कोविड डेडीकेटेड सेन्टर बनाना सुनिश्चित किए जाए, जिससे कि मरीजों को नजदीक ही चिकित्सकीय सुविधाएं मिल सकें।
जनअनुशासन पखवाड़े को बनाएं आदर्श काल
शर्मा ने कहा बढ़ते हुए संक्रमण को रोकने के लिए सरकार ने जनअनुशासन पखवाड़ा रखा है। आमजन को सख्ती से सरकार की ओर से तय की गई कोरोना गाइडलाइन का पालन करना चाहिए, जिससे कोरोना संक्रमण की चेन को तोड़ा जा सके। कोरोना महामारी का दूसरा दौर चिंतनीय है लेकिन राजस्थान में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत किया गया है और आने वाले दिनों में इन्हें अधिक सुद्ढ़ किया जाएगा।
जल्द हो सकेंगी एक लाख जांच प्रतिदिन
शर्मा ने कहा कि अप्रेल की शुरुआत से कोरोना केसेज की संख्या लगातार बढ़ रही है इसके चलते चिकित्सा विभाग ने आरटीपीसीआर टेस्ट की संख्या प्रतिदिन एक लाख से अधिक करने की तैयारी कर ली है। विभाग 78 हजार टेस्ट प्रतिदिन करने की क्षमता तक पहुंच गया है। प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का स्तर काफी उंचा है इसी का नतीजा है कि राज्य में कोविड डेडीकेटेड बैड्स की संख्या की कमी नहीं है।
मेडिसिन या अन्य चिकित्सकीय सुविधाओं की नहीं आने दी जाएगी कमी
शर्मा ने बताया कि रेमडेसिविर इंजेक्शन नि:शुल्क दिया जा रहा है। वहीं प्लाज्मा थैरेपी की सुविधा राजस्थान में 12 स्थानों पर दी जा रही है। कोरोना महामारी के लिए मेडिसिन या अन्य चिकित्सकीय सुविधाओं की कोई कमी नहीं आने दी जाएगी। महामारी के दूसरे दौर में आक्सीजन की मांग काफी अधिक है, जिसकी निर्बाध सप्लाई के लिए हम निरंतर केन्द्र सरकार के संपर्क में है। वर्तमान में प्रदेश को 124 मीट्रिक टन आक्सीजन सप्लाई हो रही है।
1500 ऑक्सीजन कंडेनसर की खरीद के दिए निर्देश
चिकित्सा मंत्री ने कहा आक्सीजन की सप्लाई में कमी ना हो इसके लिए विभाग ने 1500 आक्सीजन कडेंसर खरीदने के निर्देश दिए है। सरकार का प्रयास है कि आक्सीजन की प्रदेश में कोई कमी नहीं रहे। वैक्सीनेशन को लेकर भी राजस्थान देश के अग्रणी राज्यों में है, लेकिन वैक्सीनेशन की सप्लाई कम मात्रा में होने के लिए वैक्सीनेशन की प्रक्रिया प्रदेश में धीमी है। यदि केन्द्र सरकार अधिक डोज उपलब्ध कराए तो प्रदेश में स्टोरेज सुविधाएं है और वैक्सीनेशन सेंटर भी उचित मात्रा है, जिससे हम प्रतिदिन सात लाख से अधिक लोगों का वैक्सीनेशन कर सकते है।