जयपुर। राजस्थान सरकार (Rajasthan Govt.) की कर्मचारी विरोधी नीतियों, महासंघ से संवादहीनता, कर्मचारियों के हितों पर कुठाराघात के विरोध में अखिल राजस्थान राज्य कर्मचारी संयुक्त महासंघ ने प्रशासन (administration) गांवों और शहरों के संग (with the villages and Cities) अभियान (campaign) का बहिष्कार करने का निर्णय लिया है। महासंघ द्वारा किये जा रहे राज्यव्यापी आंदोलन के तहत बुधवार को प्रदेश के समस्त उपखण्ड अधिकारियों के माध्यम से मुख्य सचिव, राजस्थान सरकार को ज्ञापन दिया।
महासंघ के प्रदेश महामंत्री तेजसिंह राठौड़ ने बताया की सरकार द्वारा आए दिन नये प्रयोग कर कर्मचारियों को आहत किया जा रहा है। सरकार अपने ही वायदों व सार्वजनिक घोषणाओं से मुकर गयी है, जिसके चलते राज्य कर्मचारी आक्रोशित है। सरकार द्वारा राज्य कर्मियों को लगातार नजरअंदाज किया जा रहा है जो कर्मचारियों में अविश्वास को जन्म दे रहा है। राज्य सरकार द्वारा मंत्रालयिक, सहायक कर्मचारी एवं अधीनस्थ संवर्ग के 4 लाख कर्मचारियों से किसी न किसी रूप में वसूली की जा रही है जिससे कर्मचारियों की आर्थिक व्यवस्था चरमरा गयी है।
संघर्ष समिति के संयोजक महावीर प्रसाद शर्मा ने राज्य सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि समय रहते कर्मचारियों की मांगो का समाधान नहीं किया गया तो आने वाला समय में इसका प्रत्यक्ष प्रभाव सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं पर पडेगा। महासंघ ने निर्णय लिया है कि सरकार द्वारा चलाए जा रहे प्रशासन गांवो/शहरों के संग अभियान का बहिष्कार किया जाएगा, जिसमें पटवारी, ग्राम विकास अधिकारी, कानूनगो, पंचायत प्रसार अधिकारी, पशु चिकित्सा कर्मचारी, कृषि पर्यवेक्षक सहित समस्त संवर्गों के कर्मचारी भाग लेंगे।