राजस्थान राज्य के प्रमुख शासन सचिव, पीएचईडी भास्कर ए सावंत ने कहा कि प्रदेश भर में अवैध कनेक्शन को चिन्हित कर अवैध जल कनेक्शन करने वालों के विरूद्ध कार्यवाही के लिए 5 अक्टूबर से अभियान चलाया जाएगा। उन्होंने कहा कि अभियान के दौरान प्रभावी एक्शन लिया जाना सुनिश्चित करें एवं अवैध जल कनेक्शन करने वाले उपभोक्ताओं का जल कनेक्शन का नियमितिकरण भी किया जाए।
प्रमुख शासन सचिव मंगलवार को जल भवन में अमृत 2.0, जल जीवन मिशन योजना एवं अवैध जल कनेक्शन की प्रगति के संबंध में आयोजित समीक्षा बैठक को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने अमृत 2.0 मिशन के तहत् 183 नगर पालिकाओं में जल आपूर्ति कार्यों हेतु कम तकनीकी स्वीकृति जारी किये जाने पर नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने कहा कि योजना के तहत शेष रही तकनीकी स्वीकृति को शीघ्र जारी किया जाए।
सावंत ने कहा कि पानी की चोरी एवं अवैध कनेक्शन की लगातार शिकायतें मिल रही हैं। कई शहरों में हजारों की संख्या में अवैध जल कनेक्शन चिन्हित हो चुके हैं, उनके अनुपात में अवैध कनेक्शन हटाने की कार्रवाई काफी कम हुई है। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि राइजिंग मैन लाइन एवं वितरण लाइन से सभी अवैध कनेक्शन को अभियान से पूर्व चिन्हित कर लिया जाए। उन्होंने कहा कि अवैध कनेक्शन धारक के विरूद्ध पी.डी.पी. एक्ट के तहत एफआईआर भी दर्ज कराई जाए।
प्रमुख शासन सचिव ने जयपुर शहर में लंबित पेयजल कनेक्शन का निस्तारण शीघ्र करते हुए अधिशाषी अभियंता स्तर पर प्रभावी मॉनिटरिंग की जाए। उन्होंने कहा कि किसी भी स्तर पर अधिकारी एवं कार्मिक द्वारा लापरवाही की जाती है तो उसके विरूद्ध सख्त कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने नए जल कनेक्शन के ऑनलाइन आवेदन के पश्चात कनेक्शन होने तक के कार्यों का प्रत्येक स्तर पर प्रभावी मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए। जल जीवन मिशन की समीक्षा करते हुए उन्होंने एफएचटीसी की गति बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जल जीवन मिशन की प्रगति की समीक्षा प्रतिदिन क्षेत्र स्तर पर की जाए।