जयपुर। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डॉ.सतीश पूनिया के बजट की तुलना काली दुल्हन से करने के बयान से विधानसभा में गुरुवार को हंगामा हो गया। गुरुवार को विधानसभा अध्यक्ष डॉ.सीपी जोशी शून्यकाल के कामकाज की व्यवस्था देकर बैठे, वैसे ही महिला बाल विकास मंत्री ममता भूपेश ने पूनिया के बयान का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि आमेर विधायक ने बजट की तुलना काली दुल्हन से की, उन्होंने महिलाओं को पेश करने जैसी शब्दावली से संबोधित कर अपमान किया है, उन्हें माफी मांगनी चाहिए।
ममता भूपेश का सत्तापक्ष के विधायकों ने साथ दिया तो भाजपा विधायकों ने इसका विरोध शुरू कर दिया। सदन में हंगामे की स्थिति होने पर अध्यक्ष जोशी ने सदन की कार्यवाही को आधे घंटे के लिए स्थगित कर दिया।
दोबारा कार्रवाई शुरू हुई तो संसदीय कार्यमंत्री शांति धारीवाल ने ‘काली दुल्हन’ के मुद्दे पर आधे घंटे की चर्चा कराने की मांग की। जिसे विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी ने खारिज कर दिया। धारीवाल का कहना था, ‘हम महिलाओं को आगे रखते हैं, महिला के नाम पर पट्टे देते हैं, महिलाओं के सम्मान की बात करते हैं। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डॉ. पूनिया का यह बयान निंदनीय है।’ विधानसभा अध्यक्ष डॉ. जोशी ने कहा कि इस तरह की परंपरा नहीं है। इसके बाद आपसी समझाइश से यह मामला समाप्त हो गया और सदन की कार्रवाई विधिवत रूप से शुरू कर दी गई।
उधर भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डॉ. सतीश पूनिया ने राजस्थान के बजट को लेकर महिलाओं पर की गई अपमानजनक और आपत्तिजनक टिप्पणी पर माफी मांगी है। पूनियां ने कहा कल राज्य का बजट पेश हुआ और उस बजट पर मैं पार्टी का पक्ष रख रहा था। पक्ष रखते-रखते अचानक कुछ शब्द निकले। हो सकता है उन शब्दों से किसी को बुरा लगा हो। भावनाएं आहत हुई हों। सामान्य तौर पर मैं ऐसे शब्दों का इस्तेमाल नहीं करता, लेकिन फिर भी मेरे उन शब्दों से किसी को ठेस लगी हो। भावनाएं आहत हुई हों, तो मैं क्षमा प्रार्थी हूँ।
उल्लेखनीय है कि पूनिया ने गहलोत के बजट की तुलना ‘काली दुल्हन’ और उसके ‘श्रृंगार’ से की थी। पूनिया ने बजट पेश होने के बाद विपक्ष की ओर से बजट पर मीडिया को प्रतिक्रिया देते हुए कहा ऐसा लगता है मुख्यमंत्री कल विधानसभा को भंग करेंगे,परसो चुनाव में जाएंगे। राजस्थान के लोगों को इस लीपापोती वाले बजट से कुछ हासिल नहीं होगा। ऐसा लग रहा है कि किसी काली दुल्हन को ब्यूटी पार्लर में ले जाकर अच्छे से श्रृंगार करके उसे पेश कर दिया गया हो। इससे ज्यादा बजट में कुछ लगता नहीं है।