जयपुर

इन्वेस्ट राजस्थान कैम्पेन में 10.44 लाख करोड रुपए के एमओयू और एलओआई पर हस्ताक्षर

राजस्थान के भविष्य को सशक्त बनाने के लिए कमिटेड और डिलीवर्ड थीम के अनुरूप 10 लाख करोड़ रुपए से अधिक का होगा निवेश-रावत

जयपुर। उद्योग एवं वाणिज्य मंत्री शकुंतला रावत ने बताया कि इन्वेस्ट राजस्थान समिट-2022 से पूर्व 10.44 लाख करोड़ रुपये से अधिक के निवेश के साथ, राजस्थान औद्योगीकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाने की ओर अग्रसर है। भूमि, संसाधनों, बुनियादी ढांचे और राज्य सरकार की नीतियों के फलस्वरूप राज्य में विभिन्न उद्योगों से निवेश प्रस्ताव आए हैं। अपने प्रमुख निवेश सम्मेलन, इन्वेस्ट राजस्थान समिट की थीम ‘कमिटेड एवं डिलीवर्ड’ के अनुरूप राजस्थान अब इन निवेश प्रस्तावों को साकार करने के लिए तत्पर है।

उद्योग भवन में आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में रावत ने कहा कि इन्वेस्ट राजस्थान समिट आगामी 7 और 8 अक्टूबर, 2022 को जयपुर में आयोजित किया जाएगा। इस समिट में विभिन्न सेक्टर और उद्योगों से लगभग 3 हजार प्रतिनिधि भाग लेंगे और पर्यटन, एनआरआर, एमएसएमई, एग्री बिजनेस, स्टार्ट-अप्स एवं फ्यूचर रेडी सेक्टर पर कॉन्क्लेव में शामिल होंगे। उन्होंने बताया कि नये निवेश के साथ-साथ राज्य में रोजगार के अवसरों को सृजित करना तथा राज्य को औद्योगिक गन्तव्य के रूप में स्थापित करना ही इस समिट का प्रमुख उद्देेश्य है।

रावत के कहा कि परेशानी मुक्त स्वीकृति प्रदान करने के लिए, सरकार ने हाल ही में अवाड्डा पावर, ओ2 पावर एसजी पीटीई लिमिटेड, असाही इंडिया ग्लास लिमिटेड, ओकाया एनर्जी स्टोरेज, सेंट गोबेन ग्लास इंडिया प्राइवेट लिमिटेड, वरुण बेवरेजेज, डायमेंशन प्रमोटर्स प्राइवेट लिमिटेड, विप्रो हाइड्रोलिक्स प्राइवेट लिमिटेड, आदि कम्पनियों के निवेश प्रस्तावों को स्वीकृति दी है। इन्वेस्ट राजस्थान समिट ने भारत और विदेशी निवेशकों के अतिरिक्त स्थानीय निवेशकों को भी आकर्षित किया है, जो राज्य में सभी के उद्योगों के लिए उपस्थित इकोसिस्टम को प्रदर्शित करता है।

इन्वेस्ट राजस्थान समिट के तहत आयोजित राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय इन्वेस्टर्स मीट के दौरान 4,192 एमओयू और एलओआई प्राप्त हुए हैं। जिन एमओयू/एलओआई पर हस्ताक्षर किए गए उनमें से अधिकांश खनन एवं खनिज, कृषि एवं कृषि-प्रसंस्करण, पर्यटन, कपड़ा, इंजीनियरिंग, रसायन एवं पेट्रोकेमिकल, स्वास्थ्य एवं चिकित्सा, लॉजिस्टिक्स, ऊर्जा एवं हस्तशिल्प सेक्टर से हैं। 4,192 एमओयू/एलओआई में से 40 फीसदी पहले ही लागू हो चुके हैं अथवा कार्यान्वयन के अग्रिम चरण में हैं। राज्य सरकार को उम्मीद है कि समिट से पूर्व अधिकांश एमओयू एवं एलओआई लागू हो जाएंगे।

रावत ने कहा कि निवेशकों का बड़ी संख्या में यह रुझान राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के राज्य के आर्थिक विकास की योजनाओं में उनके विश्वास को प्रदर्शित करती है। उन्होंने कहा कि विशाल मानव संसाधन, बुनियादी ढांचे में तेजी से होता विकास, मजबूत बाजार पहुंच, भारत के सबसे बड़ा इंडस्ट्रियल लैण्ड बैंक और आकर्षक निवेश प्रोत्साहन निवेशकों को आकर्षित कर रहे हैं। इसके अतिरिक्त, रीको ने 390 से अधिक औद्योगिक क्षेत्रों का विकास किया है और 120 इंडस्ट्रियल एरिया पाइपलाइन में हैं।

गहलोत के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा 10 करोड़ रुप से अधिक के निवेश प्रस्तावों की समयबद्ध स्वीकृति को सुनिश्चित करने के लिए वन स्टॉप शॉप जैसी विश्वस्तरीय सुविधाओं का निर्माण किया गया है। राजस्थान इंडस्ट्रियल डवलपमेंट पॉलिसी (2019), राजस्थान सोलर एनर्जी पॉलिसी (2019), राजस्थान विंड एंड हाइब्रिड एनर्जी पॉलिसी (2019), राजस्थान एग्रो-प्रोसेसिंग, एग्रो बिज्नेस एंड एग्री एक्सपोर्ट प्रमोशन पॉलिसी (2019), हैंडीक्रॉफ्ट पॉलिसी, राजस्थान एमएसएमई एक्ट (फैसिलिटेशन आफ एस्टेब्लिशमेन्ट एंड आपरेशन) 2019, राजस्थान टूरिज्म पॉलिसी (2020) एवं अन्य पॉलिसी विभिन्न सेक्टर को सहयोग प्रदान करते हैं, जबकि राजस्थान इनवेस्टमेंट प्रमोशन स्कीम (रिप्स-2019) राजस्थान में नए व्यवसाय आरम्भ करने और मौजूदा व्यवसाय के विस्तार में निवेशकों की सहायता करती है।

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