भाजपा सांसद ( (Member of parliament) किरोड़ीलाल मीणा ने बुधवार को सवाईमाधोपुर में जिला कलेक्टर कार्यालय के बाहर धरना दिया और कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर कोरोना के कारण निराश्रित (shelter less)हुए बच्चों को संबल प्रदान करने का मामला उठाया। वहीं दूसरी ओर परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कोरोना के कारण निराश्रित हुए एक बच्चे को संबल देने के लिए 25 हजार रुपए की सहायता राशि प्रदान की।
मीणा ने कहा कि जिस प्रकार प्रधानमंत्री ने देशभर में बच्चों के लिए आर्थिक पैकेज की घोषणा की है, उसी तरह प्रदेश की गहलोत सरकार भी कोविड-19 महासंकट के दौरान निराश्रित हुए बच्चो को संबल देने की दृष्टि से अविलंब विशेष आर्थिक सहयोग तुरंत दे।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में कोरोना के कारण 411 बच्चों के निराश्रित होने की जानकारी सामने आई है। राज्य सरकार की ओर से प्रत्येक निराश्रित बच्चे को एक लाख रुपए की एकमुश्त राशि उपलब्ध कराई जाए। इन बच्चों को प्रतिमाह 7 हजार रुपए की सहायता राशि और भोजन व शिक्षा की व्यवस्था की जाए। नौवीं से 12वीं के निराश्रित बच्चों के लिए प्रतिमाह 25 हजार रुपए सहायता राशि, उच्च शिक्षा प्राप्त कर रहे निराश्रित छात्रों की पढ़ाई के लिए सरकार ढाई लाख रुपए का शुल्क सरकार की ओर से वहन किया जाए। इन बच्चों की पढ़ाई के लिए सरकार की ओर से लैपटॉप उपलब्ध कराया जाए। यदि सरकार ने इस पर कोई कदम नहीं उठाया तो वह जयपुर में धरना देंगे।
उधर परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कोरोना के कारण मृत्त राजेशकी पत्नी को 25 हजार रुपए देकर सहायता प्रदान की। राजेश के निराश्रित दोनों बच्चों की फ्री शिक्षा की जिम्मेदारी भी खाचरियावास में अपने ऊपर लेते हुए कहा कि इनकी शिक्षा फ्री में कराई जाएगी। उन्होंने कहा कि आज बहुत स्कूलों के प्रतिनिधि उनसे मिलकर गए हैं जिन्होंने कोरोना संकट में अनाथ हुए बच्चों की फ्री शिक्षा देने की जिम्मेदारी ली है।
मंगलवार को ही खाचरियावास ने किड्स केयर वेलफेयर फंड में 5.10 लाख रुपये अपनी 6 महीने की तनख्वाह दी थी अब भत्ते इत्यादि मिलाकर 5.10 लाख को बढ़ाकर 9 लाख रुपए कर दिया है। खाचरियावास ने कहा कि जयपुर में और प्रदेश में सभी जगह सभी विधायकों और सांसदों को अपने-अपने क्षेत्रों में किड्स केयर वेलफेयर फंड बनाकर अनाथ बच्चों की सहायता के लिए आगे आना होगा।